भगवत गीता महाभारत का ही एक भाग है और यह हिन्दुओं का एक धार्मिक ग्रन्थ है। इसमें कुल 18 अध्याय और 700 श्लोक हैं। इस ग्रन्थ में महाभारत के भीष्म पर्व खंड के कुरुक्षेत्र के दौरान श्री कृष्ण और अर्जुन के बीच हुवे संवाद का सम्पूर्ण वर्णन है। आज हम भगवत गीता किसने लिखी और उसमे क्या लिखा है ? इस बारे में जानेंगे।
भगवत गीता किसने लिखी और उसमे क्या लिखा है ?
कृष्ण द्वैपायन वेदव्यास ने प्रसिद्ध का ग्रंथ भगवत गीता लिखा है। असल में भगवत गीता को लिखने का कार्य गणेश जी ने किया था परन्तु इसके श्लोक वेदव्यास जी ने कहे थे। भगवत गीता में 700 श्लोक हैं जो की महाभारत में भीष्म पर्व नामक खंड में कौरव और पांडव के युद्ध के किए गए वर्णन में निहित किया गया है।
भीष्म पर्व नामक खंड में क्या है ?
भीष्म पर्व नामक खंड में कुरुक्षेत्र के मैदान में युद्ध के दौरान जब अर्जुन कौरवों के दल में अपने गुरु, मित्र, बंधु, परिचित, संबंधियों को देखकर मोहग्रस्त हो जाते हैं और अपने कर्तव्य के प्रति विमूढ हो जाते हैं। इसे देख श्री कृष्ण उन्हें उपदेश देकर उन्हें उनके धर्म, कर्म और कर्तव्य के सत्य ज्ञान के बारे में बताते हैं व उनके अपनों के प्रति मोह माया को नष्ट कर देते हैं। जिससे अर्जुन अपने कर्तव्य को निभाते हुए अपने मित्र, परिचित, सबंधियों के साथ युद्ध करते हैं।
भगवत गीता क्या है और उसमें क्या लिखा गया है?
भगवत गीता हिन्दुओं का बहुत ही पवित्र ग्रन्थ है। इस ग्रन्थ में चार वेदों का सार है और इसी वजह से इसे सर्वमान्य एकमात्र धर्म ग्रन्थ माना जाता है। इसमें व्यक्ति के भक्ति, ज्ञान, कर्म के मार्ग की चर्चा की गई है तथा इससे मानव मोक्ष की प्राप्ति कर सकता है।
इस पवित्र ग्रन्थ में सृष्टि की उत्पत्ति, सृष्टि का नाश, उसके विकास क्रम, मानव की उत्पत्ति, धर्म कर्म, भगवान, देवी-देवता, उनकी उपासना, प्रार्थना युद्ध, अंतरिक्ष, आकाश, धरती, संस्कार, कुल, नीति पूर्वजन्म, नर्क स्वर्ग, राष्ट्र निर्माण, आत्मा, कर्म, धर्म, त्रिगुण की संकल्पना आदि सभी जानकारियां मौजूद है।
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