समुद्र के पानी में नमक होता है इसीलिए समुद्र के किनारों पर क्यारियां बना दी जाती है जहा पानी इकट्ठा किया जाता है एवं इसके बाद इस पानी को बाप बना कर आकाश में उड़ा दिया जाता है एवं अंत में जो पदार्थ बचता है वह नमक होता है जिसे मशीन द्वारा उपयोगी बना कर बाज़ार में बेचा जाता है । नमक को घरेलू और चिकितत्सक प्रयोग में उपयोग किया जाता है। आज हम जानेंगे कि नमक का पीएच मान कितना होता हैहै – Namak ka Ph Man Kitna Hota Hai?
नमक का पीएच मान कितना होता है
नमक का पीएच मान 7 होता है। इसका रसायनिक नाम सोडियम क्लोराइड (NaCl) होता है। यह एक न्यूट्रल पदार्थ है। यह न तो अम्लीय है न ही क्षारीय है। (Its neither acidic nor basic)
जैसा कि हमने ऊपर जाने का नमक का रासायनिक नाम सोडियम क्लोराइड होता है तो आपको बता दे की सोडियम का काम मानव शरीर में पानी की मात्रा को नियंत्रित रखना है। यह तंत्रिका आवेगों तथा मांसपेशियों के संकुचन में भी शामिल है। नमक को दवा के रूप में भी उपयोग किया जाता है। इसका उपयोग निर्जलीकरण, अत्यधिक पसीने या अन्य कारकों के कारण होने वाले सोडियम के नुकसान के इलाज या रोकथाम के लिए किया जाता है।
अगर हम सोडियम क्लोराइड की बात करें तो यह एक आयनिक यौगिक है। इसमें सोडियम और क्लोराइड का अनुपात 1:1 है। इसके दूसरे नाम सॉल्ट, सामान्य नमक या हैलाइट आदि हैं। यह मुख्य रूप से समुद्री जल की लवणता और कई बहुकोशीय जीवों में पाए जाने वाले बाहृय तरल पदार्थ के लिए जिम्मेदार है। यह समुद्री जल में प्रचुर मात्रा में होता है।
नमक को थोड़ी मात्रा में पानी में घोलकर और घोल को छानकर शुद्ध क्रिस्टल बनाये जाते हैं। क्रिस्टल में कैल्शियम सल्फेट, सोडियम सल्फेट और अन्य जैसी अशुद्धियाँ आमतौर पर पायी जाती हैं। नमक प्राप्त करने के लिए बहुत सी प्रक्रियाएं होती हैं। भारत में नमक प्राप्त करने के लिए सबसे प्रचलित प्रक्रिया का उपयोग किया जाता है जिसे वाष्पीकरण कहते हैं।
कुछ और महत्वपूर्ण लेख –