आचार्य चाणक्य ने कई ऐसी नीतिया बताई है जो माँ लक्ष्मी को प्रसन्न करने के सन्दर्भ में है पर आज हम आचार्य चाणक्य की उन बातो के बारे में बताने वाले है जिनके आगे करोडो रूपये भी त्याग देना चाहिए वरना जीवन में मुश्किलें कभी खत्म नही होती है।
‘सेहत से बड कर कभी धन नही हो सकता है इसीलिए ऐसे पैसे को त्याग देना चाहिए जो आपको सेहत के बदले में मिला हो। क्योकि स्वस्थ शरीर ही सबसे बड़ी पूंजी है।
आचार्य चाणक्य कहते हैं ऐसा पैसा जो आपको धर्म छोड़ने के बदले में मिला हो उसे कभी भी नही लेना चाहिए वरना आपको अपने सारे रिश्ते, दोस्त, परिवारजनों को त्यागना पड़ेगा और अगले जन्म में बुरे कर्मों का फल भोगना पडेगा।
कभी भी प्रेम और रिश्तो से बड़कर पैसे को नही समझना चाहिए ऐसा करने से आपको बहुत सी परेशानिया उठानी पड़ सकती है, हमेशा प्रेम ही पैसो से ज्यादा जरुरी होता है इसीलिए प्रेम के बदले पैसो का चयन बहुत ही गलत निर्णय होता है।
एक बार अगर अपने अपना सम्मान खो दिया तो उसे वापस पाना नामुमकीन होता है और बिना सम्मान के जीवन एक पशु समान होता है।
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