उदयपुर के सिसोदिया राजपूत राजवंश के सम्राट महाराणा सांगा बहुत ही पराक्रमी और वीर राजा थे। आज के इस लेख में आपको इन्ही साहसी राजा के बारे में पढ़ने के लिए मिलेगा साथ ही आप जानेंगे कि महाराणा सांगा की मृत्यु कहाँ हुई?
परिचय
महाराणा सांगा का जन्म 12 अप्रैल 1482 को हुआ था। इनके पिताजी का नाम राणा रायमल था यह इनके सबसे छोटे पुत्र थे। इनके पिताजी की मृत्यु 1509 में हुई थी जिसके बाद इन्होने राज्य को सम्भाला था। जिसके बाद इन्होने 1509 से 1528 तक यहा राज किया है। इनका सबसे बड़ा योगदान राजपूतो को एक करना था अंग्रेजो के खिलाफ उन्हें खड़ा करना था। इन्हें मवाद राज्य पर दिल्ली, गुजरात, मालवा के मुगल राजाओ में कई बार हमला किया पर पर सफल नहीं हो सके।
ज्ञानग्रंथ का WhatsApp Channel ज्वाइन करिये!16 मार्च,1527 ई में एक युद्ध के दौरान यह अत्यधिक घायल हो गये थे जिसके कारण यह राज को नहीं सम्भाल सकते हैं तो इन्होने अपना राज्य परम मित्र राज राणा अजजा झाला के हाथ में दिया गया था।
महाराणा सांगा के तीन भाई और दो बहन और भी थी। बाबर भी राणा सांगा से काफी डरता था और उसने यह तक कहा तजा कि वह हिंदुस्तान में सबसे शक्तिशाली शासक है।
महाराणा सांगा की मृत्यु कहाँ हुई?
खानवा के युद्ध मे राणा सांगा घायल हो और बेहोश हो गये जिसके बाद उन्हें बीच युद्ध से ही महल ले जाया गया। इसके बाद 30 जनवरी 1528 को सांगा की मृत्यु चित्तौड़ में हुई थी, मृत्यु का कारण उनके ही सरदारों द्वारा उन्हें जहर दे दिया गया था।
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