वाल्मीकि जी द्वारा रचित रामचरित मानस का 5 वां अध्याय सुन्दर काण्ड कहलाता है। इस काण्ड में हनुमान जी का सीता माता को खोजने के लिए की गयी लंका यात्रा का सम्पूर्ण मनमोहक बखान मौजूद है। इस काण्ड में हनुमान जी की वीरता को दर्शाया गया है तथा यह पूर्ण रूप से हनुमान जी पर केन्द्रित है, मंगलवार या शनिवार को सुन्दरकाण्ड का पाठ करने से हनुमान जी जल्दी प्रसन्न होते हैं। आगे इस लेख में हम जानेंगे कि सुन्दर काण्ड पाठ के लाभ क्या है?
सुन्दर काण्ड पाठ के लाभ
हनुमान जी को आसानी से प्रसन्न किया जा सकता है, बुद्धि और बल के देवता माने जाने वाले हनुमान जी भगवान शंकर का रूप है। और उनकी शक्ति को दर्शाने वाले सुन्दरकाण्ड का पाठ करने से वह प्रसन्न भी होते हैं और आपको कई तरह के लाभ भी मिलते हैं। जैसे यदि कोई व्यक्ति प्रतिदिन सुन्दरकाण्ड का पाठ करता है तो उसके आत्मविश्वास में बढोत्तरी होती है, उसकी एकाग्रता शक्ति बढती है। उसके अंदर सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह होगा, और उसके द्वारा किये गये सारे कार्य सफल होंगे। हनुमान जी की कृपा बनी रहेगी जिससे आने वाली विपत्तियाँ टल जाएंगी।
- सुन्दर काण्ड के पाठ से गृहकलेश दूर होता है।
- इसका नियमित लाभ रोगों से मुक्त करता है।
- सुन्दरकाण्ड का पाठ करने से हर क्षेत्र में सफलता मिलती है।
- व्यक्ति में भय और नकारात्मकता का अंत होता है।
- इस काण्ड का पाठ करने से जीवन में खुशियो का आगमन होता है तथा सारी समस्याए ख़त्म हो जाती है।
- सुंदरकांड के पाठ से भूत, पिशाच, यमराज, शनि राहु, केतु, ग्रह-नक्षत्र आदि का डर दूर हो जाता है।
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